मातृशक्ति के सम्मान का स्वभाव परिवार के प्रत्येक सदस्य का बनना चाहिए – भय्याजी जोशी
प्रयागराज. प्रयागराज के वशिष्ट वात्सल्य पब्लिक स्कूल गौहनिया में दो
दिन से चल रही राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की अखिल भारतीय कार्यकारी मंडल पूर्वी
उत्तर प्रदेश क्षेत्र की बैठक सोमवार को संपन्न हो गयी. बैठक में पर्यावरण संरक्षण, सामाजिक समरसता और कुटुम्ब प्रबोधन पर कार्य करने का आह्वान
किया गया. बैठक में संघकार्य की वर्तमान स्थिति की समीक्षा के साथ आगामी
कार्यक्रमों पर विचार किया गया.
समापन
सत्र में सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत जी ने कहा कि कोरोना संकटकाल में संघ के
स्वयंसेवकों के अलावा समाज के जिन लोगों ने आगे आकर सेवा की है. हमें ऐसी
सज्जनशक्ति को अपने संपर्क में लाने की आवश्यकता है. सरसंघचालक जी पहले के
प्रवासों में भी मंदिर, जल स्रोत
व शमशान घाट सबके लिए खुले होने और पर्यावरण संरक्षण के लिए जल-जंगल-जमीन को
प्रदूषित होने से बचाने का आह्वान करते रहे हैं.
सरकार्यवाह
भय्याजी जोशी ने कुटुम्ब प्रबोधन पर कार्य करने का आह्वान करते हुए कहा कि
मातृशक्ति का सम्मान करने का स्वभाव परिवार के प्रत्येक सदस्य में आना चाहिए. आज
परिवार टूट रहे हैं. इसकी वजह से तमाम विकृतियां समाज में आ रही हैं. इसलिए परिवार
व्यवस्था को बनाए रखने की आवश्यकता है.
सह
सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबले ने व्यवसायी स्वयंसेवकों का सर्वे कर उनको कैसे
सक्रिय किया जाए इस विषय पर मार्गदर्शन किया. सह सरकार्यवाह मुकुंद जी ने युवा
कार्यकर्ता विकास योजना से संबंधित विषय रखा. सह सरकार्यवाह डॉ. मनमोहन वैद्य जी
ने समाज की उत्सुक शक्ति को अपने समीप कैसे लाया जाए, इस विषय पर विस्तार से चर्चा करते हुए कहा कि समाज संघ के साथ
कार्य करने को उत्सुक है.
बैठक में
कोरोना काल में सेवा कार्यों के कौन – कौन से
प्रयोग किए, ऐसे ही शाखा कार्य में कौन-कौन से नए
प्रयोग हुए आदि पर चर्चा हुई. बैठक में यह विचार किया गया कि लॉकडाउन में जिन
संस्थाओं, नागरिकों, अधिकारियों, डॉक्टर्स, सफाई
कर्मियों ने श्रेष्ठ भूमिकाएं निभाई, उनके साथ
सम्पर्क की योजना पर ध्यान देना चाहिए. बैठक में अवध प्रान्त, कानपुर प्रान्त, गोरक्ष व
काशी प्रान्त के अखिल भारतीय कार्यकारी मण्डल के सदस्य उपस्थित रहे.
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