भारत की हरित क्रांति के जनक डॉ.
एम.एस. स्वामीनाथन के निधन से आधुनिक भारत के निर्माण में एक उज्ज्वल अध्याय
समाप्त हो गया. हम उनके परिवार के सदस्यों और अनगिनत प्रशंसकों के प्रति अपनी गहरी
संवेदना व्यक्त करते हैं. डॉ. स्वामीनाथन राष्ट्र के सर्वांगीण कल्याण के लिए
समर्पित व्यक्ति थे. आम आदमी के प्रति उनकी चिंता अनुकरणीय थी और यह करुणा ही है
जिसने उन्हें हरित क्रांति लाने और लाखों लोगों के जीवन में बदलाव लाने के लिए
प्रेरित किया. उनकी कृषि क्षेत्र में शोध की मूलभूत पहल हमेशा सभी शोधकर्ताओं को
प्रेरित करती रहेगी.
डॉ. स्वामीनाथन, जिन्होंने
खाद्यान्न उत्पादन में भारत को विश्व मानचित्र पर स्थापित किया, अपनी भव्य दृष्टि, दृढ़ धैर्य और विनम्रता के माध्यम
से देश के लिए एक प्रतीक बन गए. उनका यशस्वी जीवन नई पीढ़ियों के लिए प्रेरणास्रोत
रहेगा.
हम ईश्वर से दिवंगत आत्मा को चिर
शांति प्रदान करने की प्रार्थना करते हैं.
ॐ शांति:॥
दत्तात्रेय होसबाले
सरकार्यवाह, राष्ट्रीय
स्वयंसेवक संघ
1 comment:
ऐसी विभूतियां धरती पर बार-बार नहीं आती
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