देश ही नही अब विदेशों में भी योग के
प्रति जागरूकता बढती जा रही है। योग के प्रति लोगों में विशेष रूचि देखने को मिल
रहा है। विदेशों में लोग अब योग को स्वीकार करने लगे हैं। योग के प्रति लोगों का
झुकाव देखकर अमेरिका में योग की शिक्षा-दीक्षा के लिए योग विश्वविद्यालय की
स्थापना की जा रही है। भारत में स्थापित योग विश्वविद्यालय के बाद भारत से बाहर यह
पहला विश्वविद्यालय होगा।
नासा के
पूर्व वैज्ञानिक नागेंद्र होंगे विश्वविद्यालय के चेयरमैन
वायु नासा के पूर्व वैज्ञानिक नागेंद्र
के दिमाग की उपज है जो चार दशक से युग को सामाजिक रूप से प्रासंगिक विज्ञान में
बदलने पर काम कर रहे हैं। विश्वविद्यालय ने एक बयान जारी कर कहा है कि केस
वेस्टर्न विश्वविद्यालय के प्रोफेसर श्रीनाथ को इसका अध्यक्ष नामित किया गया है।
भारतीय योग गुरु एचआर नागेंद्र इस विश्वविद्यालय के चेयरमैन होंगे। बयान में बताया
गया है कि पाठ्यक्रम अगस्त 2020 से शुरू होगा जिसके लिए संस्थापक अध्यक्ष के
तौर पर श्रीनाथ के नेतृत्व में योग में मास्टर की डिग्री के लिए अप्रैल 2020 से दाखिले शुरू
होंगे।
विदेश में
हजारों योग शिक्षकों को मिलेगी सहायता
भारत में 2002 में पहला योग
विश्वविद्यालय स्थापित करने के बाद नागेंद्र ने कहा कि उनकी इच्छा योग आधारित उच्च
शिक्षा के लिए वैश्विक विश्वविद्यालय बनाने की है। बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स के एक
सदस्य प्रेम भंडारी ने कहा कि विश्वविद्यालय से अमेरिका में हजारों योग शिक्षकों
को मदद मिलेगी जिनकी योग शिक्षा 200 या 500 घंटे के सर्टिफिकेट के पाठ्यक्रम तक सीमित है।
भारत के आह्वाहन के बाद पूरे विश्व में योग को खुले दिल से अपनाया है।
विश्व भर में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस कार्यक्रम मनाया जाने लगा है और अब इससे
जुड़ी एक और बड़ी खबर सामने आई है। भारत से बाहर दुनिया का पहला योग विश्वविद्यालय
अमेरिका में इसी साल से शुरू होगा। परास्नातक और रिसर्च की कक्षाओं के साथ
विश्वविद्यालय अपना पाठ्यक्रम शुरू करेगा। जानकारी के अनुसार इस विश्वविद्यालय में
दाखिले के लिए अप्रैल माह से पंजीयन शुरू होंगे। विवेकानंद योग यूनिवर्सिटी को $5000000 के बजट के साथ लास एंजिल्स में स्थापित किया गया है।
विश्वविद्यालय ने योग आधारित उच्च शिक्षा मुहैया कराने के लिए नवंबर 2019 में यूरोप और प्राइवेट पोस्ट सेकेंडरी एजुकेशन
कैलिफोर्निया से आधिकारिक मान्यता प्राप्त होने के 3 माह
में यह घोषणा की है।
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